रूस के दरवाजे पर दोगुनी होगी NATO की ताकत
फिनलैंड के राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री ने गुरुवार को कहा कि उनका देश उत्तर अटलांटिक संधि संगठन (नाटो) में शामिल होने के लिए आवेदन देने का समर्थन करता है, जिससे यूक्रेन में रूस के आक्रमण के बीच गठबंधन के विस्तार का रास्ता साफ हो गया है। देश के राष्ट्रपति सौली नीनिस्टो और प्रधानमंत्री सना मरीन की इस घोषणा का मतलब है कि फिनलैंड ने नाटो की सदस्यता लेने का अब पूरी तरह मन बना लिया है।
हालांकि आवेदन प्रक्रिया शुरू होने से पहले कुछ कार्रवाई अभी बाकी हैं। यह फैसला रूस के लिए चिंताजनक हो सकता है जो नाटो के पूर्व में विस्तार का विरोध करता आया है। पड़ोसी देश स्वीडन भी आने वाले दिनों में नाटो में शामिल होने पर फैसला कर सकता है। नीनिस्टो और मरीन ने एक संयुक्त बयान में कहा, ‘अब जब फैसला करने की घड़ी नजदीक आ गई है, हम संसदीय समूहों और राजनीतिक दलों को जानकारी देने के लिए हमारे समान विचार साझा कर रहे हैं।’
दोगुनी हो जाएगी रूस के साथ नाटो की सीमा
उन्होंने कहा, ‘नाटो के सदस्य के तौर पर, फिनलैंड पूरे रक्षा गठबंधन को मजबूत करेगा। फिनलैंड को बिना किसी देरी के नाटो की सदस्यता हासिल करने के लिए आवेदन देना चाहिए।’ बयान में कहा गया, ‘हम उम्मीद करते हैं कि इस निर्णय को अंजाम तक पहुंचाने के लिए आवश्यक कार्रवाई आने वाले कुछ दिनों में जल्द से जल्द पूरी की जाएगी।’ अगर फिनलैंड नाटो में शामिल होता है तो रूस से लगने वाली नाटो सीमा दोगुनी से अधिक हो जाएगी।