स्वाद और पोषण का बेस्‍ट कॉम्बो है गाजर का हलवा

सर्दियों में अगर आपने गाजर का हलवा नहीं खाया, तो क्या खाया। भारत में सॢदयों के मौसम में लगभग हर घर में गाजर का हलवा बनाने की परंपरा है। लाल कद्दूकस की हुई गाजर, दूध या मावा, मेवा और झ्घी से बनी इस मिठाई के लिए बहुत ज्यादा सामग्री की जरूरत नहीं पड़ती। लेकिन हां, इसे बनाने के लिए थोड़ा धैर्य और समय की जरूरत होती है। गाजर के हलवे की खूबी सिर्फ इसके स्वाद तक ही सीमित नहीं है, इस मीठे व्यंजन के कई स्वास्थ्य से जुड़े फायदे भी हैं। देखा जाए, तो गाजर का हलवा स्वास्थ्य और पोषण का बेहतर संयोजन है। इसे खाने के एक नहीं, बल्कि तमाम फायदे हैं।

हालांकि चीनी के कारण लोग इस घर के बने भारतीय व्यंजन को खाने से पीछे हट जाते हैं, लेकिन अगर आप डायबिटीज की शिकायत है , तो चीनी की जगह गुड़ का इस्तेमाल कर इसका हेल्दी वैरिएंट आसानी से बना सकते हैं। यह इतना हेल्दी होता है कि पोषण विशेषज्ञ मौसमी फल और सब्जियों की तरह सर्दियों में गाजर का हलवा भी खाने की सलाह देते हैं। तो आइए जानते हैं सर्दियों में गाजर का हलवा खाने से होने वाले फायदों के बारे में।

गाजर का हलवा बनाने के लिए जिस मूल सामग्री का इस्तेमाल किया जाता है वह है गाजर। गाजर विटामिन ए, सी, के और फाइबर से भरपूर है। गाजर में मौजूद विटामिन-ए आंखों की रोशनी में सुधार करने के साथ प्रतिरक्षा प्रणाली को ठीक से काम करने में मदद करता है। कई बार आपने महसूस किया होगा कि सर्दी के मौसम में छाती के ऊपरी हिस्से में संक्रमण बढ़ जाता है। ऐसे में गाजर में मौजूद विटामिन ए आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली को बेहतर बनाती है। जिससे आप संक्रमण से बच जाते हैं।

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