इंडियन ओलिंपिक एसोसिएशन की मान्यता पर खतरा

सुप्रीम कोर्ट ने देश की शीर्ष अदालत के पूर्व जज जस्टिस एल. नागेश्वर राव को इंडियन ओलिंपिक एसोसिएशन (IOA) के संविधान में संशोधन करने और इलेक्टोरल कॉलेज तैयार करने के लिए नियुक्त किया है। जस्टिस डी.वाय. चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली बेंच ने कहा कि पूर्व सुप्रीम कोर्ट जज देश में ओलिंपिक के भविष्य के लिए निष्पक्ष और विकास आधारित एप्रोच को सुनिश्चित करेंगे।

सुप्रीम कोर्ट ने जस्टिस राव को इंडियन ओलिंपिक एसोसिएशन के संविधान में संशोधन करने और 15 दिसंबर 2022 तक चुनाव करवाने के निर्देश दिए हैं। क्योंकि चुनाव ना होने की स्थिति में भारत को ओलिंपिक में भाग लेने से प्रतिबंधित किया जा सकता है।

इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने इंडिया ओलिंपिक एसोसिएशन के वर्तमान सेक्रेटरी जनरल राजीव मेहता और वाइस प्रेसिडेंट आदिल सुमरिवाला को 27 सितम्बर को इंटरनेशनल ओलिंपिक कमिटी के साथ होने वाली बैठक में शामिल होने की इजाजत दे दी है।

सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने कहा, ‘इस काम को पूरा करने में जस्टिस राव के सभी लॉजिस्टिक अरेंजमेंट युवा एवं खेल मंत्रालय के जॉइंट सेक्रेटरी के द्वारा उपलब्ध करवाए जाएंगे और इंडियन ओलिंपिक एसोसिएशन इसका खर्च उठाएगा।’ इस बेंच में जस्टिस हिमा कोहली भी शामिल थी।

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