चीन ने सोलोमन से किया QUAD को चैलेंज तो फिजी ने दिखाई औकात
फिजी अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन के इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क में शामिल हो रहा है। वाइट हाउस ने गुरुवार को इसकी जानकारी दी। इसी के साथ फिजी चीन के बढ़ते क्षेत्रीय प्रभाव को कम करने के अमेरिकी प्रयासों का हिस्सा बनने वाला पहला प्रशांत द्वीप देश बन गया है। अमेरिका ने यह घोषणा ऐसे समय पर की है जब चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने फिजी सहित प्रशांत द्वीप देशों का व्यापक दौरा शुरू किया है। खबरों के मुताबिक वह 10 क्षेत्रीय देशों का दौरा करने जा रहे हैं कि जिसकी शुरुआत उन्होंने सोलोमन द्वीप से की है।
न्यूज एजेंसी रॉयटर्स की खबर के अनुसार फिजी बीजिंग और वाशिंगटन के बीच प्रभाव के मुकाबले में एक तनावपूर्ण मोर्चा बनता जा रहा है। सोलोमन पहुंचे चीनी विदेश मंत्री प्रशांत महासागर में ऑस्ट्रेलिया के बेहद करीब स्थित 10 छोटे-छोटे देशों के साथ सुरक्षा व व्यापार समझौता करने जा रहे हैं। ऑस्ट्रेलिया सोलोमन में चीन के दखल को खतरा मानता है। ऐसे में चीन की इस चाल से ऑस्ट्रेलिया और अमेरिका टेंशन में हैं।
हिंद-प्रशांत क्षेत्र की स्वतंत्रता को लेकर प्रतिबद्ध
वाइट हाउस ने आईपीईएफ के संस्थापक सदस्य के रूप में फिजी का स्वागत किया है। अमेरिकी नेतृत्व वाले इस समूह में अब पूर्वोत्तर और दक्षिण पूर्व एशिया, दक्षिण एशिया, ओशिनिया और प्रशांत द्वीप समूह के देश शामिल हो गए हैं। अमेरिका के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन ने जलवायु परिवर्तन के खिलाफ लड़ाई में फिजी के अहम योगदान को रेखांकित किया। उन्होंने एक बयान में कहा, ‘पूरी दुनिया में, हम एक स्वतंत्र, खुले और समृद्ध हिंद-प्रशांत क्षेत्र के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को लेकर एकजुट हैं।’