अमेरिका ने छीन ली इमरान खान की कुर्सी?
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान को रूस की यात्रा करना पर भारी पड़ रहा है। उन्हीं के शब्दों में इस यात्रा के कारण (Pakistan Russia Relations) अमेरिका उनकी सरकार गिराने के पीछे पड़ा है। इमरान खान ने आरोप लगाया है कि अमेरिका नहीं चाहता है कि पाकिस्तान स्वतंत्र विदेश नीति का पालन करे। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार, कुछ ही देर में इमरान के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव (No Confidence motion against Imran Khan) पर पाकिस्तानी संसद में मतदान होगा। इमरान खान खुद संकेत दे चुके हैं कि उनकी पार्टी के पास बहुमत नहीं है और कई साथी सांसद भी विपक्ष का दामन थाम चुके हैं। ऐसे हालात में उन्होंने रविवार को पाकिस्तान की अवाम से सड़कों पर उतरकर विरोध प्रदर्शन करने की अपील की है।
इमरान ने बताया अमेरिका के धमकी वाली बात
शनिवार देर रात अवाम को संबोधित करते हुए इमरान खान ने कहा कि हमारे राजदूत की मुलाकात अमेरिका के एक शीर्ष अधिकारी से हुई थी। इस दौरान अमेरिकी अधिकारी ने कहा कि इमरान खान को रूस नहीं जाना चाहिए था। अगर इमरान खान अविश्वास प्रस्ताव से बच जाते हैं तो पाकिस्तान को मुश्किलों का सामना करना होगा। लेकिन, अगर इमरान खान हार जाते हैं तो पाकिस्तान को माफ किया जा सकता है। इमरान खान ने आरोप लगाया कि अमेरिका को पता है कि पाकिस्तान में कौन सत्ता में आने वाला है।
अमेरिकी डिप्लोमेट्स पर पाक नेताओं से गठजोड़ के आरोप
इमरान खान ने आरोप लगाया कि उन्हें पता चला है कि अमेरिका के डिप्लोमेट्स पाकिस्तानी राजनेताओं से मिल रहे हैं। चंद महीने पहले ही उन्होंने नेताओं को बुलाकर कहा था कि इमरान खान के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव आने वाला है। ऐसे में मेरा कौम से सवाल है कि हम किस तरह की सरकार चाहते हैं। इमरान ने शहबाज शरीफ पर अमेरिका का पिछलग्गू होने का आरोप लगाया। उन्होंने दावा किया कि मेरी ईमानदारी बारे में पूरा पाकिस्तान जानता है। मैने कोई जुर्म नहीं किया है। इसलिए पूरा विपक्ष मुझे हटाने में जुट गया है।